मनुष्य की सदैव से ही रत्न और रुद्राक्ष के प्रति आकर्षण और जिज्ञासा रही है और रहेगी। रत्न और रुद्राक्ष के धारण से मनुष्य को सुख समृद्धि, धन वैभव, पद-प्रतिष्ठा और शन्ति प्राप्त होती है ऐसी प्राचीन मान्यता है।
प्रस्तुत पुस्तक” रत्न प्रभा “रत्न और रुद्राक्ष के विषय में सम्पूर्ण जानकारी देने का एक प्रयास है। इस पुस्तक में नौ रत्न और उपरत्न कौन-कौन से है, रत्नों की उत्पति, गुण धर्म, पहचान, लाभ हानि, औषधिय प्रयोग, धारण विधि एवम् धारण से लाभ आदि, रूद्राक्ष की उत्पति, रुद्राक्ष के प्रकार, जीवन में रुद्राक्ष का महत्व, रुद्राक्ष धारण से लाभ, रुद्राक्ष धारण विधि आदि विषयों को लेखक ने अपने दीर्घ कालीन अनुभव एवम् गहन अध्ययन से सरल भाषा में वर्णित किया है।
इस पुस्तक की एक अन्य विशेषता यह है कि इसमें रत्न और रुद्राक्ष अपने लिये चुनने का एक सरल और सुलभ साधन प्रस्तुत किया गया है। इसके अलावा यदि आप महँगें रत्न धरण नहीं कर सकते तो उपरत्न धारण करें। उन्नति समृद्धि उत्तम स्वास्थ एवम् शिव महिमा प्राप्ति के लिये रुद्राक्ष धारण करें। रत्न और रुद्राक्ष के विषय में हर प्रकार का ज्ञान देते में सक्षम है।
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